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नई दिल्ली, दिल्ली की आप सरकार और उपराज्यपाल अनिल बैजल के बीच विवाद बढ़ता ही जा रही है। दिल्‍ली के मुख्‍यमंत्री अरविंद केजरीवाल अपनी मांगों को लेकर राज्य के उपराज्यपाल अनिल बैजल के घर 13 घंटे से धरने पर बैठे हैं। उनके साथ उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया, सत्येंद्र जैन और गोपाल राय भी धरने पर हैं। वहीं अनिल बैजल ने इस धरने को बेवजह बताया। इसके साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ने उन्हें अधिकारियों को वहां बुलाने और उनकी हड़ताल खत्म कराने की धमकी दी है।

एलजी के अनुसार उन्होंने केजरीवाल से मुलाकात के दौरान उन्हे बताया कि सरकार के अधिकारियों ने कोई हड़ताल नहीं की है और वह लगातार अधिकारियों के संपर्क में हैं। उन्होंने बताया कि अधिकारियों और सरकार के बीच अभी तक भय और अविश्वास का माहौल बना हुआ है। मतभेदों को खत्म करने के लिए सरकार की तरफ से अभी तक कोई ईमानदार पहल नहीं की गई है। एलजी ने सीएम को लगातार यही सलाह दी कि वह सभी स्तर के सरकारी कर्मचारियों से बात करें और आपसी विश्वास जगाने की कोशिश करें।

बता दें कि केजरीवाल सोमवार को मनीष सिसोदिया, गोपाल राय और सत्येंद्र जैन के साथ एलजी अनिल बैजल से मिलने गए थे। वो कहने गए थे कि दिल्ली के अफसर कई महीने से हड़ताल पर हैं और जब तक उपराज्यपाल अफसरों की हड़ताल नहीं तुड़वाते वह एलजी निवास से नहीं जाएंगे। जिसके बाद वह अपने मंत्रियों समेत उपराज्यपाल के निवास पर वेटिंग रूम में ही हड़ताल पर बैठ गएं उन्होंने अपनी तीन मांगों के स्वीकार होने तक उनके कार्यालय में बैठे रहने का फैसला किया।

केजरीवाल ने यह मांग की कि आईएएस अधिकारियों को उनकी हड़ताल खत्म करने का निर्देश दिया जाए और चार महीनों से जो अधिकारी काम अटकाकर रखे हुए हैं, उन्हें सजा दी जाए। उन्होंने एलजी से यह भी कहा है कि उनकी सरकार की ‘डोर स्टेप डिलीवरी ऑफ राशन’ योजना के प्रस्ताव को मंजूरी दी जाए। इस पर एलजी कार्यालय के बयान में कहा गया कि डोर स्टेप डिलीवरी आफ राशन का प्रस्ताव से जुड़ी फाइल नागरिक आपूर्ति मंत्री इमरान हुसैन के पास करीब तीन महीने से पड़ी हुई है।