माल एवं सेवा कर (GST) व्यवस्था में खादी धागा, गांधी टोपी, राष्ट्रीय झंडा पर कोई कर नहीं लगेगा। वहीं नकली आभूषण, मोती और सिक्के पर 3 फीसदी शुल्क लगेगा। इसके साथ ही जीएसटी परिषद ने पूजा के सामान के तहत बेचे जाने वाले रूद्राक्ष, खड़ाउ, पंचामृत, तुलसी माला, पवित्र धागा और विभूति जैसे जिंसों को पूजी सामग्री के अंतर्गत रखने का फैसला किया और कहा कि जीएसटी के अंतर्गत इस पर छूट होगी।

चंदन टिका, बिना ब्रांड वाला शहद तथा दिया बत्ती को एक जुलाई से लागू होने वाली नई अप्रत्यक्ष कर व्यवस्था में छूट दी गयी है। हालांकि पांच पूजा सामग्री…लोबहान, मिस्री, बताशा और बुरा पर 5 फीसदी जीएसटी लगेगा।

कपड़ा के मामले में 1,000 रुपये से कम के कंबल, पर्दा, बिछावन, शौचालय और रसोई गैस में इस्तेमाल होने वाले लिनेन, तौलिये पर 5 फीसदी कर लगेगा। इसके साथ ही 1,000 रुपये से कम लागत वाले नैपकिन, मच्छरदानी, बोरी, थैला, लाइफ जैकेट पर 5 फीसदी कर लगेगा। वहीं 1,000 रुपये से अधिक लागत वाली उक्त वस्तुओं पर 12 फीसदी कर लगेगा।

रेशम और जूट धागा को छूट श्रेणी में रखा गया है, मगर कपास और प्राकृतिक फाइबर तथा अन्य सभी धागा पर 5 फीसदी जीएसटी लगेगा। मानव निर्मित रेशम पर 18 फीसदी की दर से कर लगेगा। खादी को छोड़कर अन्य सभी श्रेणी के कपड़ों पर 5 फीसदी कर लगेगा। इसके साथ ही गांधी टोपी तथा भारत के झंडे पर जीएसटी के तहत कर नहीं लगेगा।

एक हजार रुपये तक की लागत वाले मानव निर्मित परिधान पर 5 फीसदी कर लगेगा जो मौजूदा 7 फीसदी से कम है। जिनकी लागत 1,000 रुपये से अधिक है, उन पर 12 फीसदी कर लगेगा। इसके साथ ही माचिस, डिब्बाबंद जैविक उर्वरक पर नई व्यवस्था में 5 फीसदी कर लगेगा। वित्त मंत्री अरण जेटली की अध्यक्षता में जीएसटी परिषद ले लगभग सभी वस्तुओं और सेवाओं पर कर का निर्धारण कर दिया है। उन वस्तुओं पर 5, 12, 18 और 28 फीसदी कर लगाया गया है। परिषद में जेटली के साथ ही राज्यों के वित्त मंत्री शामिल हैं।