कानपुर, उत्तर प्रदेश में कानपुर शहर के बड़े सरकारी अस्पताल हैलट में भर्ती एक 33 साल की अविवाहित लड़की चर्चा का विषय बनी हुई है। उसकी हालत देखकर डॉक्टरों ने भी अपना माथा पकड़ लिया है। लड़की के पैरों से निकल रहीं लोहे की कीलें देख सभी हैरान हैं। अब ये केस मेडिकल साइंस के लिए बड़ी चुनौती बन चुका है।

ये है मामला 

फतेहपुर खागा के सेमरहा गांव की अनुसुइया के पैर से पांच साल से बिना नोक की दो से ढाई इंच लंबी लोहे की कीलें निकल रही हैं। पांच साल से इनकी चुभन से युवती परेशान है। पहले तो कभी-कभार ही ऐसा हो रहा था। इधर, सप्ताह में एक या दो बार यह वाक्या हो रहा है। डॉक्टर भी नहीं समझ पा रहे हैं कि आखिर माजरा क्या है।

अविवाहित अनुसुइया (33) के पिता कील निकलने वाली घटना के कुछ दिन बाद से साधु वेश धारण कर घर छोड़कर जा चुके हैं। मां बचपन में ही गुजर गई थी। अनुसइया इकलौते भाई अवधेश और भाभी प्रेमकली के साथ रहती है। सबसे पहले पांच मई 2012 को घुटने के नीचे बायां पैर पका, फिर लोहे की एक कील असहनीय दर्द के साथ बाहर निकली।

अब तो ऐसा अक्सर होता है। अनुसुइया मंगलवार को सदर अस्पताल आई तो डाक्टरों ने कानपुर हैलट रेफर किया। सदर अस्पताल के फिजीशियन डॉ. केके पांडेय ने कहा कि लोहे से टिटनेस होता है। अगर युवती के शरीर से पांच साल से लोहे की कीलें निकल रहीं हैं, तो यह घटना किसी अजूबे से कम नहीं। उधर, हैलट के सर्जरी विभाग के हेड डॉ. संजय काला का कहना है कि जांच की जा रही है। एक्सरे में पैरों के अंदर तमाम कीलें दिख रही हैं।

कानपुर के लाला लाजपतराय चिकित्सालय (हैलट) में अनुसुइया का इलाज चल रहा है। अनुसुइया की बीमारी सुनकर डाक्टर स्टाफ सभी चकित रह गए महिला के पैरों में इतनी कीलें कहाँ से आ रहीं। इसका जवाब परिजन भी नहीं बता पा रहे।