आतंकी

देश मे बढ़ रही आतंकी घटनाओं के मद्देनजर देश के ब्लैक कैट कमांडो यानी एनएसजी को आधुनिक मशीनों और हथियारों से गृह मंत्रालय लैस कर रहा है। देश में ISIS और दूसरे आतंकी संगठनों की ओर से लोन वुल्फ अटैक का खतरा बढ़ता जा रहा है। ऐसे में कई सालों से एनएसजी में आधुनिक उपकरणों और हथियारों की जरूरत महसूस की जा रही थी। अब इस ज़रूरत पर बड़े स्तर पर काम चल रहा है। हाल ही में भारत ने एनएसजी के लिए एंटी हाईजैकिंग वेहिकल मार्स (MARS) को अमेरिका से ख़रीदा था। जिसकी कीमत 3 करोड़ रुपये बताई जा रही है।

देश में जिस तरीके से चाहे एयरक्राफ्ट की हाईजैकिंग की आशंका हो या फिर किसी बिल्डिंग में लोगों को बंधक बनाने की बात इससे निपटना काफी मुश्किल था। मगर अब मार्स एन्टी हाईजैकिंग बुलेट प्रूफ गाड़ी आने से एनएसजी की मारक क्षमता और भी ज्यादा बढ़ गई है। मार्स के जरिये ऊंचे-ऊंचे बोइंग विमान तक आसानी से पहुंचा जा सकता है। यही नहीं यदि किसी 5 से 6 मंजिला इमारत के सबसे ऊपरी फ्लोर में आतंकियों के ख़िलाफ़ ऑपरेशन करना है, तो मार्स एन्टी हाईजैकिंग वेहिकल द्वारा आसानी से उस स्थान तक कमांडो पहुंचकर सफल ऑपरेशन को अंजाम दे सकते हैं।

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शेरपा एंटी-हाइजैकिंग वैन

एनएसजी के पास पहले से मौजूद 10 शेरपा वैन है। इनका इस्तेमाल अभी भी छोटी-छोटी जगहों पर आतंकी हमलों और हाईजैकिंग की स्थिती में किया जाता है। हाल ही में एनएसजी ने और शेरपा एन्टी हाईजैकिंग वैन खरीदे हैं। एनएसजी की एंटी-हाइजैकिंग वैन शेरपा बुलेट-प्रूफ बख्तरबंद वाहन है, जिसमें किसी भी विध्वंसक विस्फोट को सहने और पानी के भीतर भी चलने की क्षमता है।

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विध्वंसक ‘रूक’ की ताकत

आतंकियों को मार गिराने और उन पर अचूक वार करने वाले ब्लैक कैट कमांडो अब किसी भी आधुनिक हथियारों और टेक्नोलॉजी से महरूम नहीं रहना चाहते हैं। एनएसजी को अगर किसी इमारत से बंधक को छुड़ाना है, तो दरवाजा तोड़कर अंदर जाना कमांडों के लिए काफी मुश्किल होता था, मगर अब जल्द ही एनएसजी के पास ऐसा गेट तोड़ने वाला यंत्र आ रहा है, जो किसी भी मजबूत से मजबूत दीवार पर लगे गेट, दीवार और लोहे के दरवाजे तोड़ते हुए पल भर में उस इमारत में घुस जाएगा। रूक नाम का यह यंत्र भारत के एलीट कमांडो के बीच जल्द ही शामिल होगा, एनएसजी इसे खरीदने का विचार कर रही है।