नई दिल्ली। रिलायंस जियो 4जी मोबाइल की प्राइम योजना से उसके कनेक्शन की मांग को गति नहीं मिल रही है। जबकि पुरानी कंपनियों को भी लाभ हुआ है। यह बात यूबीएस सिक्योरिटीज एशिया ने दूरसंचार नियामक ट्राई की मासिक ग्राहक रिपोर्ट के आधार सामने आयी है। यूबीएस ने अपनी रिपोर्ट में कहा मार्च के आंकड़ें बताते हैं कि जियो प्राइम में गति नहीं आ रही है। पुरानी कंपनियों को लाभ हुआ है।

यूबीएस ने कहा कि हमें आश्चर्य है। मार्च में जियो प्राइम पेशकश की घोषणा की गई थी। मांग में तब से तेजी का अभाव है। जियो की भुगतान आधारित सेवा का पहला महीना अप्रैल था। 309 रुपए प्रति महीने पर जियो की प्राइम सेवा शुरू हुई। जिसमे ग्राहक को प्रतिदिन एक गीगाबाइट 4जी मोबाइल ब्राडबैंड सेवा दी गई है। किसी भी नेटवर्क पर असीमित मात्रा पर कॉल की भी सुविधा दी गई है।

भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण की रिपोर्ट के अनुसार देश की अब चौथी सबसे बड़ी दूरसंचार कंपनी रिलायंस जियो शुद्ध रूप से 58.3 लाख मोबाइल ग्राहक जोड़कर लगातार मोबाइल टेलीफोन के क्षेत्र में गति दे रही है। कंपनी की प्रतिद्वंद्वी भारती एयरटेल ने आलोच्य महीने में शुद्ध रूप से 29.9 लाख ग्राहक जोड़े। आइडिया ने शुद्ध रूप से 20.9 लाख ग्राहकों को जोड़े जबकि बीएसएनएल ने 20.7 लाख नये ग्राहकों को जोड़े। वोडाफोन ने मार्च में 18.3 लाख नए कनेक्शन जोड़े।