जमानत

भारतीय कारोबारी विजय माल्या को वेस्टमिंस्टर कोर्ट के आदेश के बाद गिरफ्तार किया गया है। माल्या को भारत-इंग्लैंड की बीच हुई संधि के तहत गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तारी के बाद माल्या को मैट्रोपोलिटन कोर्ट पेश किया जाएगा। स्कॉटलैंड यार्ड पुलिस ने कहा है कि माल्या को भारत सरकार के अनुरोध पर गिरफ्तार किया गया है।

विजय माल्या पिछले वर्ष मार्च से भारत से बाहर हैं। भारत सरकार ने विजय माल्या को भगोड़ा घोषित कर रखा है। माल्या कैसे भारत छोड़कर भागा था जानें

विजय माल्या कर्नाटक से राज्यसभा सदस्य थे। विजय माल्या 2 मार्च 2016 को देश से भागने में कामयाब हो गया था। माल्या ने दो मार्च को सुबह एयरलाइन को फोन कर अपनी यात्रा की सूचना दी थी। विजय माल्या जेट एयरवेज की फ्लाइट 9W122 से दिल्ली से लंदन गये थे। माल्या के साथ 7 से 11 बैग थे। उनके साथ एक महिला भी थी।
विजय माल्या ने डिप्लोमैटिक पासपोर्ट पर दिल्ली से लंदन गये थे। यह पासपोर्ट विदेश मंत्रालय की ओर से जारी किया जाता है। केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के अधिकारियों ने 23 जनवरी को विजय माल्या की अगुआई वाले यूबी समूह के दफ्तर पर छापा मारा था। सीबीआई अधिकारी यूबी ऑफिस उन दस्तावेजों की खोज में गए थे, जिनके आधार पर विजय माल्या ने कई बैंकों में लोन के लिए अर्जी दी थी। जांच अधिकारियों को शक है कि ये दस्तावेज गैर कानूनी तरीके से तैयार किए गए थे।

विजय माल्या ने 9 हजार करोड़ रुपये कर्ज लेने के बाद उसको वापस नहीं किया था और वह देश छोड़ कर लन्दन चला गया था। कुछ दिन बाद ही उच्चतम न्यायालय ने माल्या को अपने पासपोर्ट के साथ व्यक्तिगत रूप से 30 मार्च, 2016 को पेश होने को कहा था माल्या के देश छोड़ने के बाद विपक्ष ने मोदी सरकार पर करारा हमला बोला था। सरकार ने ऐलान किया था कि माल्या को वापस लाया जाएगा।